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गहराने लगा पेयजल संकट, जनप्रतिनिधि से लेकर अधिकारी बने अनजान

औरंगाबाद: खबर सुप्रभात

औरंगाबाद जिले के दक्षिणी क्षेत्र मदनपुर, देव, अम्बा, कुटुम्बा, नबीनगर के जंगल तटीय एवं पहाड़ी इलाकों में अभी से ही पेयजल संकट गहराने लगा है। चपा कल, मोटर, समर सेवल जलस्तर नीचे चले जाने के कारण जबाब देने

लगा है। मुख्यमंत्री सात निश्चय योजना के तहत लगे हर घर नल जल योजना के तहत लगे नल भी लगभग 80प्रतिशत फेल है फलस्वरूप ग्रामीणों में चिंता की लकीरें खींचने लगी है लेकिन उसका थोड़ा सा भी फ़िक्र अधिकारियों तथा स्थानीय जनप्रतिनिधियों को है इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि ग्रामीणों को पेयजलापूर्ति समयानुसार हो इसके लिए सरकार राशि तो भेज रही है लेकिन अधिकारियों तथा जनप्रतिनिधियों एवं गांवों में फैले दलालों का गठजोड़ इस तरह हावी है कि राशि का घपला -घोटाला आराम से हो जाया करता है तथा उसकी भनक तक नहीं लग पाता है। हला की जिला प्रशासन द्वारा योजनाओं का जांच प्रतेयक सप्ताह करने का कार्यक्रम तो बनता है लेकिन आश्चर्य है कि अधिकारी गांवों में कब और कहां जांच करेंगे इसकी जानकारी ग्रामीणों को नहीं मिल पाता है तथा जांच के नाम पर लीपापोती और खानापूर्ति कर लिया जाता है। उल्लेखनीय है कि 16नवम्बर 2022को जिला मुख्यालय स्थित समाहरणालय के योजना भवन के सभाकक्ष में जिला प्रशासन द्वारा आयोजित प्रेस दिवस के अवसर पर कार्यक्रम के दौरान कई पत्रकारों द्वारा जिलाधिकारी से शिकायत किये थे कि जिले में होने वाले योजनाओं का जांच रिपोर्ट से अवगत नहीं कराया जाता है लेकिन इसका अशर जिला प्रशासन पर अभी तक नहीं दिखाई पड़ रहा है और जांच के नाम पर जांचकर्ताओं का चारागाह बना हुआ है। फलस्वरूप ग्रामीणों को पेयजलापूर्ति शुनिश्चित करने के नाम पर सरकार पैसा तो प्रत्येक वर्ष भेज रही है लेकिन लूट के वजह से ग्रामीणों को पेयजलापूर्ति समयानुसार नहीं हो रहा है और अभी से ही पेयजल संकट उत्पन्न होने लगा है।

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