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दो किसानों कि मौत से देश में सियासी भूचाल, अभी तक किसी आंदोलनकारी को खालिस्तानी होने का कोई जांच एजेंसी साबित नहीं कर सका, शिख आईपीएस अधिकारी को खालिस्तानी होने का आरोप दुर्भाग्यपूर्ण : आलोक

आलोक कुमार संपादक सह निदेशक खबर सुप्रभात समाचार सेवा

किसानों का दावा है कि खरौनी बार्डर पर प्रदर्शन कर रहे एक युवा किसान शुभकरण सिंह (21) की गोली लगने से मौत हो गई है, लेकिन हरियाणा पुलिस ने गोलीबारी से इंकार किया है। फिलहाल किसानों ने 2 दिनों के लिए दिल्ली कूच को टाल दिया है। पंजाब के मुख्यमंत्री मान ने अफसोस जताते हुए जांच व आर्थिक सहायता की बात कही है। राहुल गांधी ने इसे प्रधानमंत्री मोदी का अहंकार बताया है, जबकि कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे ने इसे पीड़ादायक कहा है। कांग्रेस नेताओं तथा पंजाब के मुख्यमंत्री का ब्यान आने के बाद देश में सियासी भूचाल देखा जा रहा है। देश में अभी एक गंदे राजनीति का जन्म लेने लगा है। जो पुलिस अधिकारी हैं क्या वे अपना ड्यूटी करेंगे तो उन्हें खालिस्तानी बताकर अपमानित करना, यदि भ्रष्टाचार ओर अनियमितता का विरोध करने पर वामपंथी और अरवन नक्सल कह कर प्रताड़ित करना कहां तक और किस हद तक लोकतंत्र और ब्यवस्था के लिए उचित है।