आलोक कुमार संपादक सह निदेशक खबर सुप्रभात
जब कुछ महीने पूर्व कर्नाटक में विधानसभा का चुनाव हो रहा था तो चुनाव प्रचार के क्रम में देश के गृहमंत्री अमित शाह ने कहा था कि यदि कांग्रेस की सरकार बनेगी तो दंगे होंगे। लेकिन अब सवाल यह है कि आखिर उत्तर प्रदेश में गृहमंत्री अमित शाह क्या कहेंगे, राम राज्य या फिर जंगलराज? यदि राम राज्य कहेंगे तो क्या जिन राज्यों में विपक्षी दलों की सरकार है सिर्फ वहीं जंगलराज कहा

जायेगा यह एक यक्ष प्रश्न गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा नेतृत्व के समक्ष खड़ा हो गया है। जब 15अप्रैल 2023 को लगभग 10.30बजे रात्रि में मेडिकल चेकअप के लिए 17 पुलिस के सुरक्षा घेरे में अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ़ को अस्पताल लाया जाता है तो पुलिस के सामने कैमरा के बीच उसे मिडिया के भेष भूषा में आए अपराधियों द्वारा गोली मारकर मौत के घाट उतार दिया गया पुनः 52दिनों के बाद उत्तर प्रदेश के राजधानी लखनऊ में जहां मुख्यमंत्री आदित्यनाथ बैठते हैं उसी शहर के एक अदालत में 12पुलिस जो सुरक्षा ब्यवस्था में संजीव जीवा को लाया गया था उसे एक वकील के भेष भूषा में कोर्ट रूम में पहले से बैठे अपराधी ने छः गोली मारकर जज के सामने मौत के घाट उतार दिया। जज साहब भी भौंचक रह गए और वे कुर्सी के नीचे छुप गए। संजीव जीवा एक अपराधी था और दो मामले में आजीवन कारावास का सजा काट रहा था तथा एक मामले में अदालत में पेश होने आया और उसे मौत के घाट उतार दिया गया। ठिक एक और घटना जो पश्चिमी उत्तरप्रदेश का है कुंदन ठाकुर और उसके साथ दो अन्य दरिंदों ने एक 14साल के युवती के साथ गैंगरेप किया तथा उसे बाद में हत्या कर दिया। कुंदन ठाकुर को भाजपा कार्यकर्ता बताया जा रहा है और भाजपा के पोस्टर में कुंदन ठाकुर का फोटो भी छपा हुआ है। उत्तर प्रदेश में इस तरह के अनेकों हृदय बिदारक घटनाएं लगातार घट रही है लेकिन आश्चर्य तो यह है कि एक भी न्यूज चैनल अथवा मिडिया द्वारा यह नहीं कहा जा रहा है कि उत्तर प्रदेश में जंगलराज कायम हो गया है। यदि इसी तरह का घटना पं०बंगाल , पंजाब, राजस्थान, बिहार और छत्तीसगढ़ यानी विपक्षी पार्टियों का सरकार वाले राज्यों में होता तो यह कहा जाता की जंगलराज कायम हो गया है। लेकिन जो हालात उत्तर प्रदेश में हो गया है तो गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा नेतृत्व उत्तर प्रदेश में जंगलराज कहेंगे या फिर राम राज्य, यह एक यक्ष प्रश्न खड़ा कर रहा है।