LATEST NEWS

राजकिय मध्य विद्यालय परता का अम्बा और रिसियप पंजाब नेशनल बैंक में चलता है खाता, दो प्रभारी प्रधानाध्यापक द्वारा खोला गया है अलग-अलग खाता ,विद्यालय शिक्षा समिति के अध्यक्ष ने किया है आवेदन का सत्यापन, रिसियप बैंक में खाता खोलवाने हेतु प्रधानाध्यापक के आवेदन में मोबाइल नम्बर बिचौलिए का , बिचौलिए का महारथ हासिल है भ्रष्टाचार व घोटाला करने का, विरोध अथवा पर्दाफाश करने वालों के विरुद्ध होता है एससी-एसटी एक्ट का मुकदमा, हत्या करने का भी मिलता है धमकी

औरंगाबाद खबर सुप्रभात समाचार सेवा



औरंगाबाद जिले के कुटुम्बा प्रखंड अंतर्गत परता मध्य विद्यालय का दो बैंकों में खाता होने का जानकारी सूत्रों से प्राप्त हुई है। इस संबंध में विद्यालय के वर्तमान प्रधानाध्यापक मो ० क्यूम अंसारी के अनुसार विद्यालय का एकमात्र खाता है जो पंजाब नेशनल बैंक शाखा अम्बा में है। लेकिन अब सवाल यह उठता है कि पंजाब नेशनल बैंक शाखा रिसियप में एक खाता प्रभारी प्रधानाध्यापिका पुनम

देबी के नाम पर बर्ष 2015 में खोला गया है। लेकिन वर्तमान प्रधानाध्यापक मो० क्यूम अंसारी इस खाता संख्या के संबंध में कहते हैं कि इसकी जानकारी मुझे नहीं है। उनके अनुसार इस विद्यालय में कोई पुनम देबी नाम के प्रभारी प्रधानाध्यापक कभी नहीं रही है। प्रधानाध्यापक मो० क्यूम अंसारी द्वारा जब बताया गया कि पुनम देबी कभी इस विद्यालय में प्रभारी प्रधानाध्यापक नहीं रही है तो फिर पुनम देबी पंजाब नेशनल बैंक शाखा रिसियप में आवेदन खाता खोलने के लिए आवेदन कैसे दी है। तथा कथित प्रभारी प्रधानाध्यापक पुनम देबी के आवेदन पर विद्यालय शिक्षा समिति के अध्यक्ष सबिता देबी द्वारा सत्यापन भी किया गया है। इतना ही नहीं प्रभारी प्रधानाध्यापक पुनम देबी द्वारा अपने आवेदन पर मोबाइल नम्बर 9931410757 लिखे हुए हैं। सूत्रों से जानकारी के अनुसार यह मोबाइल नम्बर किसी दूसरे का अंकीत है। सूत्र बताते हैं कि उक्त मोबाइल नम्बर परता पंचायत के मुखिया श्याम बिहारी राय उर्फ श्याम बिहारी पासवान के लड़का नवनीत कुमार उर्फ नवनीत कुमार पासवान सेवा से बर्खास्त आवास सहायक व वर्तमान में हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा ( से०) के युवा नेता का है। वैसे तो जांच से ही खुलासा होगा कि उक्त मोबाइल नम्बर नवनीत कुमार राय उर्फ नवनीत कुमार पासवान का है अथवा नहीं? बताते चलें कि तथाकथित प्रधानाध्यापक पुनम देबी के नाम पर खोले गए खाता में छात्रवृत्ति की लाखों रुपए भेजी गई और उसे घपला घोटाला कर लिया गया। उल्लेखनीय है कि यदि बर्खास्त आवास सहायक और हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा के युवा नेता का मोबाइल नम्बर पुनम देबी के बैंक में दिये गए आवेदन पर अंकित है तो यह भी एक रहस्यमय विषय है तथा कई तरह का आशंका जताया जा रहा है। सर्व प्रथम की क्या घपला घोटाला का ताना-बाना नवनीत के द्वारा तो नहीं बुना गया और इसके जद्द में कई लोग शामिल हैं या फिर बेवजह परेशान हो रहे हैं? यदि सचमुच में नवनीत का कोई ताना-बाना बुना गया है तो यह साफ़ जाहिर है कि वह पूर्व में भ्रष्टाचार के मामले में ही आवास सहायक से बर्खास्त हो चुका है। तथा उसके पत्णी भी फर्जी प्रमाण पत्र पर नियोजित शिक्षिका है लेकिन भ्रष्टाचार के बह रहे गंगोत्री के कारण अभी पकड़ से बाहर चल रही है। उच्चस्तरीय जांच से इसके तथा इसके अन्य परिजनों का काला चिठ्ठा सामने आयेगा। विरोध करने वाले ग्रामीणों, पत्रकारों एवं सामाजिक कार्यकर्ताओं पर फर्जी एससी-एसटी एक्ट के तहत मुकदमा करना और दुसरो से भी करवाना, जानलेवा हमला करने, जान-माल को छती पहुंचाने का प्रयास, आय से अधिक चल अचल संपत्ति अर्जित करना खासियत रहा है। उल्लेखनीय है कि सरकार के विद्यालय में गरीब और दलित का ही बेटा-बेटी पढ़ते हैं और उसी को मिलने वाले छात्रवृत्ति की राशि का घोटाला करने हेतु ताना बाना बुनना और फीर दलितों का सुभचिंतक होने का दावा करना सचमूच में सरकार और ब्यवस्था का जड़ तो खोद ही रहा है हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा ( से०) पर भी काला धब्बा लग रहा है।