सुनील कुमार सिंह खबर सुप्रभात समाचार सेवा
बिहार विधान सभा चुनाव 20 2 5 का परिणाम में एन डी ए को मिले 20 2 सिटों पर प्रचंड़ बहुमत नें यह सावित कर दिया कि बिहार के मतदाता बुद्धिजिवी एवं विवेकशील हैं। ये सही वक्ख्त पर सही निर्णय करना जानते हैं । विश्व हिन्दु परिषद् के प्रखंड़ अध्यक्ष गोपाल सिंह नें प्रेस व्यान जारी कर बताया कि बिहार बुद्ध की धरती है, बुद्धु की नहीं । बिहार की जनता विकास करनें वाली सरकार को इस चुनाव में प्रचंड़ बहुमत से चुनी है तो वहीं दुसरी तरफ जंगलराज की पार्टी को एक सिरे से खारीज कर दिया है। इस चुनाव में अति पिछड़ी जाति, अनुसुचित जाति – जन जाति, स्वर्ण जाति के मतदाताओं का धुव्रीकरण अटुट रहा । माई समिकरण टुट कर बिखर गया । महागठबंधन मात्र 35 सिटों पर सिमट गया । ओबैसी की पार्टी को सिमांचाल में 5 सिटें मिली । इस चुनाब में बढ़ी वोट का प्रतिशत महिला सशक्तिकरण का अनुठा उदाहरण देखने को मिला । राजद के समर्थकों द्वारा शोसल मिड़िया पर प्रशारीत गानें – आवेदे भैया के राज कट्टा सटा के उठा लेबऊ घरा से, मारव सिक्सर के छः गोली छाती में, खुँटा ठोंकाय लगतऊ रायफल से, ढोंढ़ियो पर लिखवा ले RJD के नाम आदि कई अश्लील और भयाक्रांत गानों से जनता सहम चुकी थी । इस तरह के जंगलराज की परिकल्पना से बुद्धिजिवी मतदाता चुपचाप मोदी – नीतिस की जोड़ी की विकाशशील एवं सुशासन की सरकार पर एक बार फिर से भरोसा जताई । एन डी ए के स्टार प्रचारक पवन सिंह के गाना – ‘ जोड़ी मोदी आऊ नीतिस जी के हिट होई ‘ को हीट कर दिया। इस चुनाव में शोसल मिडिया, टीवी, अखवार में प्रकाशित खबरों का खुब असर दिखा। अब आनें वाला समय ही बतायेगा कि गुरुबार को गाँधी मैदान में शपथ लेने वाली नीतिस जी के नेतृत्व वाली सरकार जनता की कसौटी पर कहाँ तक खरी उतरती है। आजादी काल से पिछड़ा मगध क्षेत्र का विकास कहाँ तक हो पाता है।

